वेवफा तो वह खुद थी.
पर इल्जाम किसी और को ही देती है.
पहले नाम था मेरा हर वक्त उसके होठो पर.
अब वो नाम किसी और का ही लेती है.
क्यों जिंदगी इस तरह तुम दूर हो गए,
क्या बात है जो इस तरह मगरूर हो गए।
हम तरसते रहे तुम्हारा प्यार पाने को,
बेवफा बनकर तुम तो मशहूर हो गए।।
इश्क करना तो लगता है जैसे,
मौत से भी बड़ी एक सजा है,
क्या किसी से शिकायत करें हम,
जब अपनी तकदीर ही बेवफा है।
तुम समझ लेना बेवफा मुझको, मै तुम्हे मगरूर मान लूँगा
ये वजह अच्छी होगी , एक दूसरे को भूल जाने के लिये..!
ऐतबार नहीं कर सके तो इंतजार तो कर लेते,
बेवफाई का जहर दिया तो मौत की बद्दुआ भी दे देते।
मेरा जनाजा निकला तेरी ही गली से ओ बेवफा।
दिखाने के लिए ही सही पर दो आँसू तो बहा लेते।
कभी ग़म तो कभी तन्हाई मार गयी,
कभी याद आ कर उनकी जुदाई मार गयी,
बहुत टूट कर चाहा जिसको हमने,
आखिर में उनकी ही बेवफाई मार गयी।
ऐ दोस्त कभी ज़िक्र-ए-जुदाई न करना,
मेरे भरोसे को रुस्वा न करना,
दिल में तेरे कोई और बस जाये तो बता देना,
मेरे दिल में रहकर बेवफाई न करना।
वो मिली भी तो क्या मिली बन के बेवफा मिली,
इतने तो मेरे गुनाह ना थे जितनी मुझे सजा मिली।
बहुत अजीब हैं ये मोहब्बत करने वाले,
बेवफाई करो तो रोते हैं और वफा करो तो रुलाते हैं।
बहुत अजीब था वो हिज्र का आलम,
कि तुझे अलविदा भी न कह सका,
तेरी मासूमियत में इतना फ़रेब था,
कि तुझे बेवफ़ा भी न कह सका।
इश्क़ के खुमार में उसे अपनी जिंदगी बना लिया,
जब भी उसकी याद आई दिल थामकर रो लिया,
वफ़ा का नाम देकर उसने बेबफाई की तो क्या हुआ,
जिंदगी थी वो मेरी उसके दिए सारे ग़म बर्दाश्त कर लिया।
चला जाऊँगा मैं धुंध के बादल की तरह,
देखते रह जाओगे मुझे पागल की तरह,
जब करते हो मुझसे इतनी नफरत तो क्यों,
सजाते हो आँखो में मुझे काजल की तरह।
कभी गम कभी तन्हाई ही मार गयी.
कभी याद आ कर उसकी जुदाई ही मार गयी.
बहुत टूट कर चाहा है जिसको आखिर में.
उसकी ही बेवफाई मार गयी.
फूलो के साथ कांटे भी होते है.
ख़ुशी के साथ गम भी होते है.
मज़बूरी ही ले डूबती है हर आशिक को.
वरना ख़ुशी से बेवफा भी कौन होता है.
तेरे दरवाजे से सर उठाऊँ तो बेवफा कहना.
तेरे सिवा किसी और को चाहू तो बेवफा कहना.
मेरी वफ़ा पर सक है तो खंजर उठा लेना.
मै बड़े शौक से मर जाऊ तो बेवफा कहना.
जान कर भी वो मुझे जान न पाए,
आज तक वो मुझे पहचान न पाए,
खुद ही कर ली बेवफाई हमने,
ताकि उन पर कोई इलज़ाम न आये।
यूँ है सबकुछ मेरे पास बस दवा-ए-दिल नही,
दूर वो मुझसे है पर मैं उस से नाराज नहीं,
मालूम है अब भी मोहब्बत करता है वो मुझसे,
वो थोड़ा सा जिद्दी है लेकिन बेवफा नहीं।
ये बेवफा तेरी इस बेवफाई में दिल बेक़रार ना करू.
तू बोल दे तो तेरा इंतेजार ही ना करू.
अरे बेवफा ऐसा कर की तेरे बाद.
मै किसी और से प्यार न करू.
एक बार कर के एतबार जरा लिख दो.
कितना है मुझसे प्यार जरा लिख दो.
कटती नहीं ये जिंदगी तेरे बिन.
और कितना करू इंतजार लिख दो.
तुझसे प्यार बहुत ज्यादा था.
तेरी हर बात का मुझे अंदाजा था.
तूने मुझे अचानक कुछ ऐसा दर्द दे दिया.
धोका का तोहफा मेरे दिल को दे दिया.
ऐ बेवफा तेरी बेवफ़ाई में दिल बेकरार ना करूँ,
अगर तू कह दे तो तेरा इंतेज़ार ही ना करूँ,
तू बेवफा है तो कुछ इस कदर बेवफ़ाई कर,
कि तेरे बाद मैं किसी से प्यार ही ना करूँ।